hindi sahitya
बुधवार, 7 नवंबर 2012
तुम्हारा जिंदा रहना जरूरी है गुल मकई !
"अपने हक़ और हकूक की हिफाजत में -
क्यों भूल गयी मजहबी कायदे-कानून ?
कच्ची उम्र मे-
खिलौनों और गुड़ियों की ज़िद करने
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