hindi sahitya
शनिवार, 8 दिसंबर 2012
Ye Zindagi Na Milegi Dobara
ये जिन्दगी ना मिलेगी दोबारा
कुछ तो कहती है सुबह, कुछ तो छुपा है शाम में
आगाज हुआ है जिसका, बदले वह अंजाम में
अनवरत
Ye Zindagi Na Milegi Dobara
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