चमचों की क्या तारीफ़ करे हम कुछ कहते हुए भी डरते हैं; इस बात से ये न समझ लेना हम चमचागीरी से मुहब्बत करते हैं.
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें