शनिवार, 11 जुलाई 2015

Teri Yaad

आज फिर उनकी याद आई तो मन को मसोश कर रह गए हम
कल गर उनकी याद फिर से आई तो क्या करंगे हम
इस लिए इस बेबस मन को समझते है हम
है नहीं इस दर्द का कोई भी मरहम

यादें है उनकी पास हमारे इन्ही के सहारे जी लेंगे हम
पर है की यह कम्बखत दिल मानता ही नहीं उनके बगैर
आज फिर से एक नाकाम कोशिश की दिल को मानाने की
पर दिल भी तो कम्बखत है की मानता ही नहीं

फिर खोल दी हमने यादो की वो खिड़की
जब थे वो हमरे दिल के करीब
झांक कर यादो के झरोखो से दिल को समझाया बमुश्किल
आया तभी एक झोका हवा का और बंद हो गया झरोखा उनकी यादो

तिल तिल मर कर जीना हमने सिख लिया है
इस दिल को भी दिलाशा देना सिख लिया है
जब भी आती है अब याद आपकी हम दिल को समझते नहीं
बस उसको ले जाते है हैं उस झरोखे के पास

जँहा से वो खुश तुम को देख कर होता है
काश तुम भी समझ पाते की हाल दिल क्या है हमारा
यूँ छोड़ कर चले जाने के बाद
जी रहे हैं यादो के सहारे आपकी ये मत छीन लेना कभी हम से !!!!!!!!!!!!!!

By Anderyas

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